आवँला निरोगी काया के लिए बेमिसाल-स्वामी चिन्मयानंद
अनिल द्विवेदी,मीडिया हाउस गोण्डा-आँवला नवमी के पावन अवसर पर कटरा कुटी पीठ पर आंवला वृक्ष का पूजन, हवन एवं विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया। कथावाचक पं चंद किशोर शास्त्री ने कहा कि कार्तिक माह में मनुष्य धन-धान्य से परिपूर्ण हो जाता है। यह माह निरोगी काया के लिए महावरदान है। कार्तिक माह में प्राणी मात्र के कल्याण के लिए सबके मन में कुछ विशेष करने का भाव स्वत: जागृत हो जाता है। कटरा कुटी पीठ के महंत स्वामी चिन्मयानंद ने कहा कि जिनके मन में संपूर्ण सौभाग्य जागरण की इच्छा होती है। वह अपने अमूल्य जीवन का एक पल भी व्यर्थ नहीं जाने देंगे। स्वस्थ रहने के लिए प्रतिदिन एक आंवला का सेवन अवश्य करें। महाराज ने कहा कि सर्वप्रथम आंवला फल को सम्राट अशोक ने श्रीलंका को भेंट किया था। धार्मिक मान्यता है कि आंवला नवमी पर मां लक्ष्मी ने पृथ्वी लोक पर भगवान विष्णु व शिव शंकर की पूजा आंवले के रूप में की थी। इसी पेड़ के नीचे बैठ कर भोजन ग्रहण किया था। यह भी कहा जाता है कि आंवले के पेड़ के नीचे श्रीहरि विष्णु के दामोदर स्वरुप की पूजा होती है। इस अवसर पर बबलू तिवारी, ओमप्रकाश गुप्ता , संदीप गुप्ता, विनोद गुप्ता, डॉक्टर कुमार, गोपाल सिंह, डॉ अरुण सिंह, नन्हे पांडे, नीरज श्रीवास्तव, बाबा राघव, रामविलास चौरसिया प्रधान, गौरी शंकर गुप्ता,सहित बड़ी संख्या में लोग उपस्थित रहे।