बोकारो रेलवे स्टेशन से युवक का अपहरण, माॅ पुलिस से लगा रही फरियाद।

17 दिन बित जाने के बाद भी पुलिस ने नही लिया,मामले पर संज्ञान।

युवक बिहार के भागलपुर से आया था बोकारो, जेपीएससी की परीक्षा देने के बाद ट्रेन पकडने गया था बोकारो रेलवे स्टेशन, हुआ गायब।

मीडिया हाउस न्यूज एजेंन्सी 03ता०बोकारो : जेपीएससी की परीक्षा देने आया युवक का बोकारो रेलवे स्टेशन से अपहरण या लापता होने के गम में एक माॅ और बिहार पुलिस बल की महिला ने आवेदन देकर जीआरपी सहित बोकारो पुलिस अधीक्षक से न्याय की गुहार लगाई है तथा पुत्र की सुचना देने वाले को दस हजार का इनाम भी रखी है। बिहार भागलपुर की रहने वाली महिला वर्तमान में बलुआही ,थाना -मधुबनी बिहार में एएसआई है और बिहार पुलिस बल में अपना योगदान दे रही है। बता दें की महिला राखी घोषाल, पति- स्व: सुभाष चंद्र घोषाल ने दिए आवेदन में और बातचीत के बाद रोते हुए बताया है की मेरा इकलौता पुत्र 17 मार्च को जेपीएससी की परीक्षा देने के उपरांत बोकारो स्टेशन पर था शाम 7:30 के करीब उससे हमारी बात हुई वह कहा कि बनांचल एक्सप्रेस से भागलपुर आ रहा हूं तथा मेरा मोबाइल डिस्चार्ज है एक घंटे के बाद मैं पुन: उसके मोबाइल पर फोन की तो संदेहास्पद स्थिती में उसकी तीन बार मम्मी मम्मी की आवाज आई और उसके बाद मोबाइल बंद हो गया और फिर उसके बाद अभी तक उससे मेरा संपर्क नहीं हो पाया है बालीडीह थाना में प्राथमिक दर्ज करवाने गई पर बालीडीह थाना ने मामला दर्ज करने से साफ इंकार कर दिया और मुझे और मेरे बेटे को ही उल्टा सीधा बोलने लगे. कहने लगे की जीआरपी में जाकर केस दर्ज करवाइए या सीसीटीवी फुटेज लेकर आईए तो आपका एफआईआर दर्ज करूगा.जिसके बाद मैं 20 मार्च को जीआरपी थाना में गुमशुदगी का मामला दर्ज करवाई. मुझे आशंका है कि मेरे पुत्र के साथ कहीं अनहोनी की घटना घटित हुआ है. तथा किसी अज्ञात के द्वारा मेरे पुत्र का अपहरण कर लिया गया है.मेरा इकलौता पुत्र था जीने का सहारा ही छिन लिया गया तो अब मैं जिकर क्या करूगी। बता दें की बिहार के केलापुर निवासी ,थाना – कजरेली, जिला भागलपुर बिहार का रहने वाला 29 बर्षीय युवक सन्नी रंजन घोषाल 17 मार्च को जेपीएससी की परिक्षा देने बोकारो आया हुआ था. जो पेटरवार के प्लस टु हाई स्कूल में परीक्षा देने के बाद ट्रेन पकडने शाम को बोकारो रेलवे स्टेशन पहुंचा और प्लेटफॉर्म पर बनांचल एक्सप्रेस ट्रेन का इतजार कर रहा था.जो ट्रेन पकडकर अपने गांव भागलपुर जाने वाला था .लेकिन शाम आठ बजकर तीस मिनट के करीब उसकी माॅ से फोन से हुई बातचीत के बाद,ना ही वह अपने गांव पहुंचा और ना ही अब तक किसी तरह की बातचीत हो पाई और ना ही जानकारी मिल पाई ,जीआरपी ने बोकारो रेलवे स्टेशन के सीसीटीवी कैमरे की जांच की तो वह युवक उस समय तक देखा गया लेकिन उसके बाद वह लापता है। पिडित महिला और उसके सहयोगीयों अनुसार अब सवाल यह उठता है की बोकारो पुलिस मानवता का एक तरफ दंभ भरती है तो दंभ भरने वाला चेहरा भी खुलकर इस तरह कदर सामने आया की वह महिला अब अपने जीने की चाह और आश ही छोड दी है.समय पर बालीडीह थाना के द्वारा एफआईआर दर्ज ना करके जिस तरह एक पिडित महिला और एक माॅ का दर्द तक ना समझा गया जो महिला पुलिस बल में सेवा दे रही है चाहे वह झारखंड हो या बिहार,लेकिन जिस तरह अभ्रद भाषा और डाट फटकार कर मामला दर्ज ना करते हुए वहां से भगा दिया गया यह बहुत ही शर्मनाक है की वह महिला बिहार से अपने गायब बेटे को खोजने आई और बोकारो जिला पुलिस से उम्मीद और आशा की,की उसकी मदद की जाएगी और उसके बेटे को खोजा जाएगा. पर ना ही एक महिला का दर्द बालीडीह थाना समझ पाई और ना ही एक माॅ का दर्द,जो महिला अपने इकलौते पुत्र के गायब होने पर बिलख- बिलख कर रो रही थी।

लिखूं कि ज़िंदगी तुम्हारे बाद तुम्हें याद करे...'पुरानी स्मृतियां संजोए 33 साल बाद अपने स्कूल पहुंचे डीपीएस बोकारो के प्रथम बैच के विद्यार्थी, ताजा कीं यादें

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